Family Pension: केंद्र सरकार ने महिला कर्मचारियों के लिए बड़ा ऐलान किया है. अब वह अपने पति के जगह अपने बेटे बेटियों को फैमिली पेंशन का हकदार बना सकती है. इस संबंध में नए नियम लागू कर दिए गए हैं. डिपार्टमेंट ऑफ़ पेंशन एंड पेंशनर्स वेलफेयर ने आधिकारिक बयान में बताया है कि केंद्र सरकार ने सिविल सर्विसेज रूल्स 2021 में बदलाव किया है. अब सरकारी क्षेत्र में कार्यरत महिला कर्मचारी अपने बच्चों को पेंशन दे सकती है.
बेटे या बेटी भी फैमिली पेंशन के होंगे हकदार
सरकार के द्वारा किए गए इस निर्णय का असर सामाजिक ताने-बाने पर पड़ेगा. इसके सामाजिक एवं आर्थिक असर दिखाई देंगे. फिलहाल महिला कर्मचारी अपने पति को ही नॉमिनी बना सकती थी लेकिन अब वह अपने बेटे बेटे किसी को भी फैमिली पेंशन में नॉमिनी बनाएगी. सोमवार को यह आधिकारिक सूचना जारी की गई.
केंद्रीय राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि यह निर्णय महिलाओं के सम्मान का अधिकार दिलाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा लिया गया है. नए नियम के अनुसार महिला कर्मचारी फैमिली पेंशन के लिए बेटे या बेटी को हकदार बना सकती है. नए नियम के अनुसार अगर महिला कर्मचारी की मौत हो जाती है तो इस स्थिति में फैमिली पेंशन बेटे या बेटी को मिलेगी.
बच्चे नहीं होने पर पति को मिलेगी पेंशन(Family Pension)
जितेंद्र सिंह ने जानकारी दिया कि हमने महिला कर्मचारी के हाथ में ताकत दिया है. इस सुधार में वैवाहिक कलह की प्रक्रिया, दहेज या अन्य कोर्ट केस में फंस चुके संबंधों की स्थिति में महिलाओं को अतिरिक्त अधिकार दिए जाते हैं.
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अगर किसी स्थिति में महिला के बच्चे नहीं है तो उसके पति को पेंशन मिलेगा. सरकार ने कहा कि यदि महिला कर्मचारी के बच्चे नहीं है तो उसके पति को पेंशन दिया जाएगा. हालांकि यदि पति किसी नाबालिक की दिव्यांग बच्चों का संरक्षक है तो बच्चे के बालिक होने तक उसे पैसे मिलेंगे. बच्चा व्यस्क हो जाएगा तो उसे पेंशन मिलेगा.
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