बिहार की तस्वीर बदलने की दिशा में लगातार काम कर रही बिहार सरकार ने स्वास्थ्य सुविधाओं को दुरुस्त करने की ओर बड़ा कदम बढ़ाया है, जिसके मद्देनजर सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य व्यवस्थाओं में सुधार करने के इरादे से 750 एंबुलेंस खरीदने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। बता दे सरकार इन एंबुलेंस को खरीदने पर 1.71 अरब रुपए खर्च करने वाली है।
स्वास्थ्य विभाग ने साझा की जानकारी
स्वास्थ्य विभाग द्वारा साझा की गई जानकारी के मुताबिक कोरोना काल के दौरान ग्रामीण क्षेत्रों में मरीजों को अस्पताल तक पहुंचाने के लिए एंबुलेंस व्यवस्थाओं की कमी थी, जिसे लेकर ग्रामीणवासियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा था। कोरोना काल के हालातों को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने परिवहन व्यवस्था को दुरुस्त करने का तत्काल फैसला करते हुए 1000 एंबुलेंस खरीदने की मंजूरी दी। बता दें मार्च 2022 तक इन एंबुलेंस को खरीद लिया जाएगा।
क्या कहते हैं एंबुलेस की मौजूदा आंकड़ें
कोरोना काल के मद्देनजर स्वास्थ्य विभाग द्वारा साझा की गई जानकारी के मुताबिक इंडियन पब्लिक हेल्थ स्टैंडर्ड्स के मानको के अनुसार राज्य में एक लाख की आबादी पर कम से कम एक एंबुलेंस का इंतजाम आवश्यक है। बिहार की आबादी के मुताबिक व बैंकों के अनुरूप मौजूदा समय में राज्य में 1200 एंबुलेंस की दरकार है। गौरतलब है कि फिलहाल राज्य के सभी स्रोतों से मिलकर 1200 एंबुलेंस मौजूद है, लेकिन इनमें से 250 एंबुलेंस खराब पड़ी है, जो कि चलने योग्य नहीं है। इतना ही नहीं 108 एंबुलेंस का रद्दी में बेचे जाने का अनुरोध भी सरकार को मिला है।
जल्द शुरू होंगी सुविधाएं
बता दे स्वास्थ्य विभाग द्वारा साझा की गई जानकारी के अनुसार एमवीआई की अनुशंसा पर 58 एंबुलेंस बेड़े से हटाई जा चुकी है, जबकि 102 सेवा के तहत 484 डीएलएस एंबुलेंस 2011 तथा 44 एएलएस एंबुलेंस 2012 में खरीदी गई थी। जिन्होंने अपनी अपनी कार्य क्षमता के अनुरूप लंबे समय तक सेवा दी। वही इन तमाम कमियों को ध्यान में रखते हुए विभाग पूर्व में ही 250 एंबुलेंस खरीदने की अनुमति दे चुका है। साथ ही शुक्रवार को 750 ने एंबुलेंस खरीदने के लिए भी राशि जारी कर दी गई है, जिसके तहत जल्द ही नई एंबुलेंस सेवाएं राज्य के अलग-अलग हिस्सों में सुचारू रूप से उपलब्ध कराई जाएंगी।