बिहार: बस 112 डायल करते ही पहुंचेगी स्थानीय थाने की गाड़ी, लांच होगी इमरजेंसी स्पोर्ट सिस्टम

बिहार मे पुलिस विभाग के आधुनिकीकरण की प्रक्रिया तेज कर दी गई है। शीघ्र ही सीसीटीएनएस का काम पूरा हो जाएगा। इसके अंतर्गत थाने क्राइम डेटा से लेकर शिकायत की प्रक्रिया सब ऑनलाइन हो जायेगी। बिहार पुलिस दिसंबर महीने अपना में इमरजेंसी स्पोर्ट सिस्टम लांच करने वाली है। इस सिस्टम मे यह किया जाएगा कि पुलिस थाने से अलग एक गश्ती गाड़ी होगी, जो जनता के एक आपातकालीन कॉल पर रिस्पांस करने के लिए पूरे शहर में तैनात की जायेगी। इसके लिए 112 डायल करना होगा। यह नंबर आपातकलीन होगी, इसे डायल करने पर घटनास्थल पर जो गाड़ी पंहुचेगी, वह स्थानीय थाने से पृथक होगी। घटना स्थल पर पँहुचने के बाद गश्ती दल द्वारा प्राथमिक कानूनी प्रक्रिया को पूरी की जायेगी और फिर स्थानीय थाने के अधिकारी के आने के बाद उन्हें रिपोर्ट कर प्राथमिकी की प्रक्रिया आगे बढ़ाई जायेगी।

इस सिस्टम की शुरुआत किए जाने की तैयार की जा रही है। इसके लिए पुलिस मुख्यालय द्वारा 400 वाहनों को खरीदा जा रहा है, जो कि जीपीएस से लैस होगा। फिलहाल राज्य मे अलग अलग इमरजेंसी सेवाओं के लिए अलग-अलग हेल्पलाइन नंबर है। गृह विभाग की तरफ से पहले चरण के लिए 42 करोड़ की राशि जारी कर दी गई है, जिससे आपतकालीन सेवा के लिए आवश्यक वाहनो की खरीद की जायेगी।जानकारी के अनुसार पहले चरण में राज्धानी पटना सहित 10 जिलों मे इसे शुरू किया जाएगा। फिर अन्य जिलों मे भी इसका विस्तार किया जाएगा। अनुमान के मुताबिक इमरजेंसी स्पोर्ट सिस्टम स्थापित करने मे लगभग 176.22 करोड़ रुपये की लागत आएगी। इसके लिए केंद्रीय अंशदान के रूप मे 10.80 करोड़ की राशि जारी की जा चुकी है जबकि शेष राशि 165.42 करोड़ रुपये की राशि राज्य सरकार द्वारा दिया जाएगा।

राजवंशी नगर के पास बनेगा वायरलेस सिस्टम

गौरतलब है कि पटना के राजवंशी नगर के पास वायरलेस सिस्टम बनाया जा रहा है। जैसे ही कोई भी इमरजेंसी कॉल आयेगी तो सबसे पहले इस सेंटर को जानकारी मिलेगी। यहां 24 घंटे तैनात कर्मचारी द्वारा कॉल रिसिव किया जाएगा और फिर उसे फ़ौरन ही संबंधित विभाग को ट्रांसफर किया जएगा। फिलहाल किसी भी तरह के पुलिस सेवा के लिए 100 पर डायल करना होता है। तो वहीं फायर ब्रिगेड को बुलाने के लिए 101पर डायल करना होता है। एंबुलेंस की सेवा के लिए क 102 पर डायल करना होता है। लेकिन नई व्यवस्था के लागू होने के बाद अब इन अलग-अलग नंबरों के बदले केवल एक नंबर 112 डायल करना होगा और सभी तरह की सेवाएं ली जा सकेगी।

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