जितनी मुखिया और बुधनी सरपंच, बिहार पंचायत चुनाव में सास-बहू की जोड़ी की जीत बनी चर्चा का विषय

बिहार में इस बार हो रहे पंचायत चुनाव में मतदाताओं ने अपने प्रतिनिधि को बदलने का ट्रेंड बरकार रखा है। ऐसे ट्रेंड के बीच जमुई जिले के बरहट प्रखंड के बरहट पंचायत के मुखिया और सरपंच पद पर चुनाव लड़ने वाली जितनी और बुधनी पर मतदाताओं ने फिर से अपना विश्वास जताया है। बरहट पंचायत से चुनाव लड़ रही मुखिया प्रत्याशी जितनी देवी और सरपंच प्रत्याशी बुधनी देवी की जीत पर जहां एक ओर जश्न का माहौल है तो वहीं यह जीत आस पास के इलाके में चर्चा का विषय बना हुआ है। बता दें कि इन दोनों प्रत्याशियों द्वारा नामांकन से लेकर चुनाव का प्रचार प्रसार भी एक साथ ही किया गया था।

इस विजेता जोड़ी के बारे में कहा जा रहा है कि पिछले पंचायत चुनाव में भी उन्होंने अपनी रणनीति बनाई थी जिसे उन्होंने इस बार भी जारी रखा था। वैसे तो महादलित समाज से आने वाली जितनी और बुधनी अलग-अलग जाति से आती हैं लेकिन सामाजिक सरोकार और आपस में वे दोनो सास-बहू की तरह रहती हैं। चुनाव जीतने के बाद सरपन्च बुधनी ने कहा कि मुखिया जितनी हमारी सास है और हम दोनों पंचायत के विकास तथा लोगों के न्याय के लिए लगातार काम करते रहे हैं। यही वजह है जनता ने हम पर दोबारा से भरोसा जताया है।

पंचायत चुनाव में बदलाव की बयार

पंचायत चुनाव के पांचवें चरण के मतगणना में जो नतीजा सामने आया है, वह बदलाव का नतीजा रहा, क्यूँकि बरहट प्रखंड में अधिकतर निवर्तमान जनप्रतिनिधियों को चुनाव में मात मिली है और यहां भी मतदाताओं ने परिवर्तन की बयार को जारी रखा है। बरियारपुर और बरहट पंचायत को छोड़ सभी जगह नए चेहरे को मतदाताओं ने मुखिया के लिए पसंद किया है। कटौना पंचायत के जिस परिवार से लगातार चार बार मुखिया पद पर जीत दर्ज की जा रही थी, उसे भी वहां के मतदाताओं ने नकार दिया है।

बरियारपुर पंचायत से सरस्वती देवी को जीत मिली है। सरस्वती देवी की सास पूर्व में दो बार और उनके पति मुखिया रह चुके हैं। सरस्वती देवी के पति मकेश्वर यादव की हत्या कर दी गई थी जिसके बाद इस बार हुए पंचायत चुनाव में मतदाताओं ने विधवा को अपना मुखिया बनाया है। बरहट प्रखंड के जिला परिषद की सीट पर भी नया चेहरा देखने को मिला है, यहाँ से गुड़िया कुमारी ने जीत हासिल की है। मलयपुर पंचायत के पश्चिमी भाग से पूर्व विधायक सुशील कुमार सिंह उर्फ हीरा जी के बेटे रुबेन कुमार सिंह ने चौथी बार मतदाता के भरोसा जीतने में कामयाब रहे और जीत हासिल की है।

Manish Kumar