1 रुपये किलो भी नहीं बिका टमाटर, किसानों ने रोड पर 50 क्विंटल टमाटर फेंक चलवा दिया ट्रैक्टर

बिहार मैं अभी कोरोना के चलते लॉकडाउन लगा हुआ है, ऐसे में बाजार, दुकान सारे बंद पड़े हैं। पर किसान के पैदावार तो अभी भी जारी हैं और उसे खरीदने वाला कोई नहीं है। एक ऐसे ही दिल दहला देने वाली घटना बिहार के मुजफ्फरपुर से सामने आई है यहां कोरोना सब्जी किसानों का बुरा हाल कर रखा है। टमाटर उगाने वाले किसानों का इतना बुरा हाल है कि उनका टमाटर ₹1 पर केजी भी नहीं बिक रहा है। इसी से लेकर गुस्साए वहां किसानों ने 50 क्विंटल टमाटर को सड़क पर फेंक ट्रैक्टर चलवा दिया है।

गौर मतलब है कि इस इलाके में सब्जी को सुरक्षित रखने के लिए कोई कोल्ड स्टोरेज सिस्टम नहीं है इसी वजह से यहाँ के किसानों का यह हाल है और उनके सब्जी का खरीदार कोई नहीं मिल रहा है। आपको बता दें कि मुजफ्फरपुर के मीनापुर प्रखंड के मझौलिया गांव में बड़े स्तर पर सब्जी की खेती की जाती है। यहां से कई इलाकों में क्विंटलों सब्जियां पहुंचाई जाती है, पर अभी लॉकडाउन के कारण जो किसान 11:00 बजे तक अपना सब्जी नहीं भेज पाते हैं उनकी उपज बेकार हो जाती है। इस वजह से यहां के किसान काफी नाराज हैं और टमाटर को सड़कों पर फेक ट्रैक्टर चला अपना विरोध दिखा रहे हैं।

ये मांग कर रहे किसान

एक सब्जी किसान ने बताया कि अभी शादी का मौसम चल रहा था अभी टमाटर की काफी बिक्री हुआ करती थी। कई इलाके के लोग यहाँ टमाटर खरीदने आते थे परंतु अभी शादी विवाह पर लगाम लग जाने के कारण टमाटर की खपत बिल्कुल ना के बराबर हो गई है और इसी वजह से उनका टमाटर का सही रेट नहीं मिल रहा है।

इतना ही नहीं अगर ऊपज ज्यादा बढ़ जाती थी तो यह टमाटर नेपाल तक भी सप्लाई किया जाता है परंतु अभी लॉकडाउन के कारण नेपाल जाने का भी रास्ता बंद है, ऐसे में अभी टमाटर का एक रुपए किलो थी कोई खरीदार नहीं मिल रहा है और इसी वजह से यहां के किसान ने गुस्सा होकर 50 क्विंटल टमाटर रोड पर फेंक दिया और उस पर ट्रैक्टर चलवा दिया। यहां के किसानों ने यह मांग रखा हैं कि उनके इलाके में सब्जियों को सुरक्षित रखने के लिए कोई कोल्ड स्टोरेज बनाया जाए जहां वे अपनी बची हुई सब्जियां को सुरक्षित रख सकें

Manish Kumar

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