बिहार में एक बार फिर रोजगार की तलाश में पलायन(Bihar Labor) करने का सिलसिला शुरू हो गया है। भारी तादाद में मजदूर बिहार से दूसरे शहरों की तरफ पलायन कर रहे हैं। बिहार सरकार (Bihar Government) ने रोजगार देने के नाम पर करोड़ों का बजट तो पेश कर दिया, लेकिन हालात जस के तस नजर आ रहे हैं। उत्तरी बिहार से भारी तादाद में पलायन के दौरान मजदूरों के साथ हुई ठगी (Bihar Labor Cheating Case) का मामला सामने आया है।
मजदूरों को बीच रास्ते छोड़ फरार बस
बता दें ये मामला अररिया जिले के मजदूरों का है, जो अररिया से लुधियाना रोजगार की तलाश में जा रहे थे। इसके लिए बस चालक ने प्रत्येक पैसेंजर से 1300 रूपये का किराया भी लिया था, लेकिन इन मजदूरों को बस ड्राइवर और खलासी आधे रास्ते में ही उतार कर मौके से फरार हो गए।

रोजगार की तलाश में पलायन करने वाले मजदूरों को बस सुपौल सदर थाना के ब्रह्म स्थान के पास छोड़कर फरार हो गई। पूरी रात अररिया के यह सभी मजदूर इस जगह पर बस का इंतजार करते रहे, लेकिन बस नहीं आई। इस बीच सदर पुलिस भी वहां मामले की जानकारी के लिए पहुंची, लेकिन पूछताछ के बाद पुलिस ने भी बाद में इस मामले पर कोई कार्रवाई नहीं की जिसे लेकर अब मजदूर वर्ग हंगामा कर रहा है।
बस में सवार 150 यात्रियों के साथ धोखा
मजदूरों का कहना है कि बस में 150 यात्री सवार थे, जिन्हें भेड़ बकरी की तरह लादकर लुधियाना ले जाया जा रहा था। यह गाड़ी हरियाणा की थी और इसका नंबर HR 38 Y 4446 है। यह बस मजदूरों को अररिया से लुधियाना ले जाने के लिए चली थी। बस के पैसेंजर्स का कहना है कि दलाल को कमीशन नहीं दिया गया था, उसी को लेकर उन्हें बीच रास्ते में छोड़ कर बस और खलासी फरार हो गए। आक्रोशित मजदूरों ने बताया कि इस घटना के बाद सदर थाना की पुलिस ने संबंधित थाने से बात कर मामले पर किसी तरह की कोई कार्रवाई नहीं की।