बिहार: विश्वविद्यालयों में जल्द किए जाएगें तृतीय वर्ग कर्मियों की नियुक्ति, अनियमित कर्मी होंगे बर्खास्त,अनुदान वितरण में आएगी पारदर्शिता

बिहार के विश्वविद्यालयों में रिक्त पदों पर जल्द ही भर्ती की प्रक्रिया शुरू होने जा रही है। विश्वविद्यालयों एवं कॉलेजों में रिक्त पदो पर थर्ड ग्रेड कर्मियों की नियुक्ति प्रक्रिया शुरू की जाएगी। शिक्षा मंत्री विजय चौधरी ने खुद इस बात की जानकारी दी है। उन्होंने बताया कि सभी 13 परंपरागत विश्वविद्यालयों एवं 260 अंगीभूत महाविद्यालयों में शिक्षकेतर कर्मचारियों के कई पद खाली है, जिस पर जल्द ही भर्ती के लिए आगे की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। कर्मचारी चयन आयोग या अलग आयोग गठित करके ये नियुक्तियां की जाएंगी। सभी परंपरागत विश्वविद्यालयों एवं अंगीभूत महाविद्यालयों में स्वीकृत एवं कार्यरत पद तथा रिक्तियों की पूरी जानकारी विभाग के पोर्टल पर अपडेट की जायेगी। उच्च शिक्षा सेवा से संबंधित तीन विशेष पोर्टलों के उद्घाटन के मौके पर शिक्षा मंत्री ने उपरोक्त बातें कहीं।

शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने डिग्री कालेजों के ऑनलाइन संबद्धन पोर्टल www.cabihar.com, संबद्धता प्राप्त कालेजों के अनुदान हेतु पोर्टल education.bihar.nic.in और शिक्षकेतर कर्मियों की नियुक्ति हेतु सूचना संग्रहण पोर्टल www.serorg.net/edu.hrms का शुभारंभ किया। इस दौरान कुलसचिवों और कुलपति भी वीडियो कान्फ्रेंसिंग जरिए इस कार्यक्रम से जुड़े हुए थे। इन सभी की मौजूदगी में शिक्षा मंत्री ने नई भर्ती की घोषणा की। राज्य सरकार प्रदेश में उच्च शिक्षा का विकास और सकल नामांकन अनुपात को बढ़ाने में जुटी हुई है, जिसके सन्दर्भ में उपयुक्त घोषणा की गई है।

अनियमित कर्मी होंगे बर्खास्त

शिक्षा मंत्री ने कुलपतियों व कुलसचिवों को निर्देश देते हुए कहा कि शिक्षकेतर कर्मचारियों के खाली पदों पर जो अनियमित नियुक्तियां हुई हैं, वैसे कर्मियों का वेतन बंद करने को ही कार्रवाई नहीं कही जा सकती बल्कि उन्हें बर्खास्त कीजिए ताकि भविष्य में ऐसे कर्मी किसी प्रकार का कोई दावा नहीं कर सके। सरकार ने इस सम्बन्ध मे एक अधिसूचना भी जारी किया है, जिसमें विश्वविद्यालयों को सतर्क रहने के लिए कहा गया और यह भी चेतावनी दी गई कि इस सरकारी अधिसूचना के बाद से विश्वविद्यालय स्तर पर कोई कर्मचारी की नियुक्ति नहीं होगी।

अनुदान वितरण में आएगी पारदर्शिता

शिक्षा मंत्री ने यह भी कहा कि पोर्टल के माध्यम से कॉलेजों को संबंधन देने से अनुदान वितरण तक में पारदर्शिता सुनिश्चित हो सकेगी और समूची कवायद ऑनलाइन हो सकेगी। सभी यूनिवर्सिटी के कुलपतियों को सीधे सीधे स्पष्ट लहजे मे कहा गया कि विभिन्न विश्वविद्यालयों में पहले हुई तमाम विवादित नियुक्तियों की सूचनाएं मिली हैं, अब ऐसी नियु

यूनिवर्सिटी को तृतीय श्रेणी और अन्य नियुक्तियां के अधिकार नहीं

शिक्षा विभाग की तरफ से एक आधिकारिक पत्र जारी करके कहा गया है कि यूनिवर्सिटी को तृतीय श्रेणी और अन्य नियुक्तियां करने का अधिकार नहीं है, अतः विवि से कहा गया कि वे यह सुनिश्चित करें कि शिक्षा विभाग के पत्र जारी होने की तिथि के बाद एक भी नियुक्ति उनके तरफ से ना हो। शिक्षा मंत्री मंगलवार को मदन मोहन झा स्मृति सभागार समारोह को संबोधित कर रहे थे। जो पोर्टल शुरू की गई है वे विवि व कॉलेजों में तृतीय श्रेणी के शिक्षकेतर कर्मियों की नियुक्ति, कॉलेजों के संबंधन और संबद्धता प्राप्त कॉलेजों के सहायक अनुदान की स्वीकृति से संबंधित हैं।

शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव संजय कुमार ने इस दौरान कहा कि विश्वविद्यालयों में शैक्षणिक सत्र का नियमित संचालन और परीक्षा कार्यक्रम सुनिश्चित की जाए, ताकि राज्य उच्च शिक्षा का लक्ष्य हासिल कर सके। सचिव असंगबा चुबा आओ ने कहा कि पोर्टल शुरू होने से अब पारदर्शी व्यवस्था बहाल होगी। विभिन्न विश्वविद्यालयों से तक 180 खाली पदों की सूचना मिली है, जिनमें लाइब्रेरियन तथा प्रयोगशाला सहायक के पद शामिल हैं।

Manish Kumar