बिहार: शराब की बोतल अब महिला के हाथों में खनकेगी, 1 करोड़ की लागत से सरकार ने तैयार किया प्लान

शराबियों की शराब (Liquor In Bihar) ही कई बार उनकी मौत की वजह भी बनती है, लेकिन अब शराबियों के शराब की बोतल की खनक उनकी पत्नियों की चूड़ियों में सुनाई देगी। दरअसल बिहार सरकार (Bihar Government) ने एक अनोखा ही प्लान तैयार किया है, जिसके तहत अब बिहार में जब्त शराब के नष्ट हो जाने के बाद उनकी बोतलों से कांच की रंग-बिरंगी चूड़ियां (Bangle Production by Liquor Bottles) बनाई जाएंगी। इस मामले में मद्य निषेध, उत्पादन एवं निबंधन विभाग ने जीविका दीदी को इसकी जिम्मेदारी सौंपी है। इसके लिए जीविका की ओर से फीजिबिलिटी रिपोर्ट दी तैयार कर ली गई है।

शराब की बोतलों से बनेंगी चुड़ियां

बिहार सरकार के इस नए प्लान के बाद जल्द ही शराबियों की शराब की बोतल महिलाओं के हाथों में खनकती सुनाई देंगी। राज्य के उत्पाद आयुक्त कार्तिकेय धनजी की माने तो शराब बंदी कानून के तहत बीते दिन और राज्य के कई हिस्सों में अवैध शराब की खेप पकड़ी गई है। शराब के साथ पहले उनकी बोतलों को भी नष्ट किया जाता था। इसके बाद इसका चूरन बचता है, लेकिन अब इन्हीं बोतलों के चूर्ण से जीविका दीदी कांच की चूड़ियां बनाएंगी।

चूड़ियां बनाने के लिए प्रशिक्षण ले रही जीविका दीदियां

मध निषेध, उत्पादन एवं निबंधन विभाग की ओर से कांच की चूड़ियों के उत्पादन को लेकर बड़ी जानकारी साझा की गई, जिसमें बताया गया कि चूड़ियों की उत्पादन यूनिट की स्थापना के लिए जीविका के मुख्य कार्यालय पदाधिकारी को एक करोड रुपए का भुगतान कर दिया गया है। कांच की चूड़ियों के निर्माण का प्रशिक्षण कार्य शुरू हो गया है। प्रशिक्षण लेने के लिए जीविका दीदियों का एक ग्रुप उत्तर प्रदेश में बकायदा सुचारू ढंग से प्रशिक्षण ले रहा है।

प्रशिक्षण के उपरांत यह जीविका दीदी अन्य महिलाओं को भी बड़े पैमाने पर इसके लिए प्रशिक्षित करेंगेी। फिलहाल चूड़ी निर्माण के लिए एक यूनिट के निर्माण कार्य का काम तेजी से चल रहा है, जहां राज्य भर से नष्ट शराब की बोतले लाई जाएंगी और कांच की चूड़ियां बनाई जाएंगी। वोटों की संख्या और मार्केट में बढ़ती चूड़ियों की मांग के साथ सरकार यूनिट की संख्या में बढ़ोतरी करेगी।

बिहार में लगातार मिल रही अवैथ शराब की खेप

गौरतलब है कि बिहार में शराबबंदी कानून के लागू होने के बावजूद लगातार अवैध शराब की खेप मिल रही है। इसी मामले में सख्त प्रशासन ने अगस्त माह में 1,15,399 छापेमारी की गई थी, जिसमें 3,69,974 लीटर अवैध शराब बरामद की गई थी। इसमें से 2 लाख लीटर देसी शराब जबकि 1.59 लाख लीटर विदेशी शराब मिली थी। सभी जानते हैं कि बिहार में शराबबंदी कानून लागू है। ऐसे में जगह-जगह छापेमारी भी हो रही है और इन छापेमारी में शराब की खेप पकड़ी जा रही है।

Kavita Tiwari