बिहार में स्थायी लाइसेंस बनवाने के इच्छुक लोगों के लिए अब ड्राइविंग टेस्ट पास करना आसान हो जाएगा। इसके लिए परिवहन विभाग द्वारा टेस्ट के नियमों को सरल बनाया गया है। दरअसल पहले ये नियम काफी सख्त थे। पहले टेस्ट पास करने के लिए आवेदकों को वाहन चलाते हुए दो बार अंग्रेजी का आठ (8) बनाना होता है। इस दौरान यदि वे जमीन पर पैर रख देते थे तो उन्हें असफल घोषित कर दिया जाता था। लेकिन अब आवेदक परीक्षा के दौरान दो बार जमीन पर पांव रख सकेंगे। दो बार पैर रखने पर उन्हें फेल नहीं किया जाएगा।
टेस्टिंग ट्रैक से जुड़े कंप्यूटर्स में किया गया बदलाव
जानकारी के अनुसार, परिवहन मुख्यालय द्वारा इस संबंध में स्पष्ट आदेश जारी किया गया है। यह नियम सोमवार से लागू हो गया है। अधिकारियों ने बताया कि टेस्टिंग ट्रैक से संबंधित सारे कंप्यूटर्स में इस आदेश के बाद संशोधन कर दिया गया है। गौरतलब है कि पहले टेस्ट पास करने वालों की संख्या 45 से 50 फीसद ही होती थी। लेकिन नया आदेश लागू होने के बाद 80 फीसद तक आवेदकों के हो सकेंगे।
हर जिले में बनेगा कंप्यूटर से निगरानी वाला ट्रैक
पटना के जिला परिवहन अधिकारी श्री प्रकाश द्वारा कहा गया है कि परिवहन मुख्यालय ने टेस्टिंग ट्रैक पर टेस्ट देने वालों प्रतिभागी को थोड़ी राहत देने के लिए नियमो मे ढील दी है। पहले टेस्ट देते हुए जमीन पर पैर रखने की स्थिति मे उन्हें फेल कर दिया जाता था। लेकिन अब टेस्ट में गलती से जमीन पर दो बार पैर रखने पर भी उन्हें असफल नहीं किया जाएगा। इसके साथ ही पटना में ड्राइविंग टेस्ट के लिए कंप्यूटराइज्ड टेस्टिंग ट्रैक बनकर तैयार हो चुका है। यहाँ पैरवी जैसा कुछ नहीं होता है और सब कुछ स्वत: कंप्यूटर में रिकार्ड होते जाता है। बिहार के अन्य जिलों में भी जल्द ही ऐसे ट्रैक बनवाने की तैयारी की जा रही है। इसमें अधिकारी की मनमानी की भी कोई गुंजाइश नहीं है।