DeepFake case: आज के समय में डीप फेक का ट्रेंड चलने लगा है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से फोटो वीडियो को एडिट करके लोग वायरल कर देते हैं जिसके वजह से काफी बदनामी होने लगी है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का लगातार गलत इस्तेमाल किया जा रहा है जिसकी वजह से लोगों की परेशानियां बढ़ गई है।
अभी कुछ समय पहले साउथ की मशहूर एक्ट्रेस रश्मिका मंडाना का एक वीडियो आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के मदद से गलत तरीके से एडिट किया गया था। इसके बाद देश भर में काफी हंगामा हुआ और सरकार को इस मामले में हस्तक्षेप करना पड़ा। आज हम इस आर्टिकल में आपको डीप फेक से बचने के उपाय बताने वाले हैं।
DeepFake Case: वायरल हो जाए डीप फेक वीडियो तो इस साइट से ले मदद
सोशल मीडिया पर ऐसे मामले देखने को मिलते हैं जहां पर आपको आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का गलत इस्तेमाल होने का प्रमाण मिलता है। आप अक्सर देखते हैं कि सोशल मीडिया पर डीप फेक वीडियो, मार्फ़ वीडियो देखने को मिलते हैं। ऐसा होने पर आपको निराश नहीं होना चाहिए बल्कि इस साइट की मदद लेनी चाहिए।
इस वेबसाइट पर जाने से मिलेगी आपको मदद
इसके लिए आपको stopNCII.org पर जाना होगा। यह जाने के बाद सबसे पहले आपको create your case पर क्लिक करना होगा और अपना उम्र जेंडर और एडिटेड वायरल वीडियो या फोटो की विशेष जानकारी देनी होगी। फिर आपको अपना ईमेल आईडी पिन कोड आदि डालना होगा।
डिलीट हो जाएगा आपका एडिटेड वीडियो
सभी प्रक्रिया पूरा होने के बाद आपका एडिटेड वीडियो या फोटो को जल्द से जल्द रिमूव हो जागा। आपका डीपफेक वीडियो जैसे सोशल मीडिया से रिमूव होगा आपको मिल के द्वारा इसकी जानकारी मिल जाएगी।
क्या है कानूनी प्रावधान (DeepFake case)
बता दे कि इस तरह के मामलों के लिए आईटी एक्ट और आईपीसी की कई तरह की धाराएं और डाटा प्रोटक्शन लॉ के अंतर्गत केस किया जा सकता है। साइबर एक्सपर्ट्स का कहना है कि आईटी के धारा 67 के अंतर्गत यदि इंटरनेट पर किसी भी प्रकार की कोई आपत्तिजनक पोस्ट की जाती है तो व्यक्ति पर कानूनी कार्रवाई की जा सकती है।
Also Read: मार्केट में आ रहा है अब तक का सबसे सस्ता iPhone, फीचर्स होंगे कमाल, जाने कब तक होगा लॉन्च
इस धारा के अंतर्गत 3 साल तक की सजा और जुर्माने का प्रावधान रखा गया है। सबसे बड़ी बात है कि इस सजा को बढ़ाया जा सकता है और इसके अलावा शेयर के वीडियो में जिस शख्स की छवि खराब हुई है वह मानहानि का केस कर सकता है। आप अगर कभी इस तरह के मामले के शिकार हो जाते हैं तो तुरंत साइबर क्राइम ब्रांच से संपर्क करें।